गोरखपुर

गोरखनाथ मंदिर गेट पर हमला मामला,

मुर्तजा का केस स्पेशल कोर्ट में हुआ ट्रांसफर*

*इसी सप्ताह सेंट्रल जेल में शिफ्ट करने की तैयारी*

*गोरखपुर।* गोरखनाथ मंदिर पर तैनात सुरक्षाकर्मियों पर हमले के आरोपित मुर्तजा अब्बासी का केस स्पेशल कोर्ट में ट्रांसफर हो गया है। इसी सप्ताह उसे लखनऊ सेंट्रल जेल शिफ्ट करने की तैयारी है। हाथ के ऑपरेशन के बाद मुर्तजा पहले से बेहतर है। अब वह घरवालों से मुलाकात की जिद कर रहा है। हालांकि, घर से कोई भी उससे मिलने जेल नहीं पहुंचा है। जेल से फोन से बात कराने की सुविधा है पर मुर्तजा पर यूएपीए के तहत कार्रवाई हुई है लिहाजा जिला प्रशासन की अनुमति के बिना जेल प्रशासन ने परिजनों से बात कराने से इंकार कर दिया है।अहमद मुर्तजा अब्बासी को गोरखपुर जेल की हाई सिक्योरिटी बैरक में रखा गया है। मामले की विवेचना कर रही एटीएस ने उस पर यूएपीए के तहत कार्रवाई की है। इससे पहले मुर्तजा को 16 अप्रैल तक एटीएस ने पूछताछ के लिए रिमांड पर लिया था। पूछताछ पूरी होने के बाद 16 अप्रैल को कोर्ट में पेश किया था, जहां से उसे 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया था। अब उसके केस की सुनवाई विशेष अदालत में होगी। ऐसे में यह केस गोरखपुर कोर्ट से लखनऊ विशेष कोर्ट में ट्रांसफर कर दिया गया है।
अगली पेशी 30 अप्रैल को स्पेशल कोर्ट में ही होने की बात कही जा रही है। एटीएस सूत्रों के मुताबिक इसी सप्ताह उसे गोरखपुर जेल से लखनऊ सेंट्रल जेल ट्रांसफर कर दिया जाएगा। गोरखपुर जेल प्रशासन को इसकी जानकारी दे दी गई है और उसकी शिफ्टिंग की तैयारी शुरू कर दी गई है। भारी सुरक्षा के बीच उसे लखनऊ ले जाया जाएगा।
*यह है घटनाक्रम
31 मार्च को खुफिया एजेंसियों ने 16 संदिग्धों की लिस्ट जारी की, जिसमें गोरखपुर के अहमद मुर्तजा अब्बासी का भी नाम था और उस पर नजर रखने के निर्देश जारी हुए थे।2 अप्रैल को एटीएस के दो सदस्य मुर्तजा की पड़ताल करने उसके गोरखपुर सिविल लाइन स्थित आवास पहुंचे।2 अप्रैल को मुर्तजा को जानकारी मिली कि उसे एटीएस तलाश रही थी, उसके बाद वह घर छोड़कर नेपाल भाग गया।3 अप्रैल की शाम 7.24 बजे मुर्तजा ने गोरखनाथ मंदिर की सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों पर धारदार हथियार से हमला कर दिया।3 अप्रैल की रात में मुर्तजा के पकड़े जाने के बाद पुलिस ने उस पर दो केस दर्ज किए।4 अप्रैल को उसे कोर्ट में पेश किया और कस्टडी रिमांड पर ले लिया।5 अप्रैल को एटीएस को केस ट्रांसफर कर दिया गया, एटीएस ने मुर्तजा को अपनी कस्टडी में ले लिया।11 अप्रैल को कस्टडी रिमांड पूरी हो गई, लेकिन जांच पूरी नहीं होने से एटीएस ने दोबारा कोर्ट में अर्जी देकर पांच दिन उसकी रिमांड बढ़ाने की अपील की। 
16 अप्रैल को मुर्तजा की रिमांड पूरी हुई और कोर्ट में पेश किया गया, कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया।

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